
लखनऊ में हुए एक कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने साफ़ और सख्त शब्दों में चेतावनी दी है. उन्होंने कहा है कि जो भी लोग दंगा-फसाद करते हैं या सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुँचाते हैं, उन्हें अब बख्शा नहीं जाएगा.
क्या कहा सीएम योगी ने?
सीएम योगी ने बहुत ही सीधी भाषा में समझाया कि कोई भी सरकारी संपत्ति, जैसे बसें, ट्रेनें, या कोई इमारत, असल में किसी सरकार की नहीं, बल्कि पूरे समाज की होती है. इसे बनाने में हम सभी का पैसा और मेहनत लगती है.
उन्होंने आम जनता से भी अपील की. उन्होंने कहा, "अगर कोई समाज की संपत्ति को नष्ट करता है, तो उसे टोकिए. अगर वो नहीं मानता, तो अपने मोबाइल से उसका वीडियो बनाकर वायरल कर दीजिए."
सरकार क्या करेगी?
योगी आदित्यनाथ ने बताया कि ऐसे लोगों से निपटने के लिए सरकार ने पूरा प्लान बना लिया है. जो भी व्यक्ति तोड़फोड़ करते हुए पकड़ा जाएगा:
- पोस्टर लगेंगे: उसकी तस्वीरें शहर में जगह-जगह पोस्टरों पर लगाई जाएँगी.
- होगी वसूली: संपत्ति को हुए नुकसान का पूरा खर्चा उसी व्यक्ति से वसूला जाएगा.
उन्होंने कहा कि ऐसे लोगों को ऐसा सबक सिखाया जाएगा कि वे भविष्य में कानून हाथ में लेने से पहले सौ बार सोचेंगे.
किस कार्यक्रम में बोल रहे थे सीएम?
यह सारी बातें सीएम योगी ने लखनऊ के लोकभवन में आयोजित एक कार्यक्रम में कहीं. यह कार्यक्रम यूपी बोर्ड के 2025 के हाईस्कूल और इंटरमीडिएट के टॉपर बच्चों को सम्मानित करने के लिए रखा गया था. इस मौके पर मेधावी छात्रों को एक-एक लाख रुपये, एक टैबलेट और मेडल देकर उनका हौसला बढ़ाया गया. साथ ही, उन्होंने संस्कृत शिक्षा से जुड़ी 100 करोड़ रुपये से ज़्यादा की योजनाओं का शिलान्यास भी किया.
कुल मिलाकर, संदेश साफ़ है कि यूपी में अब सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुँचाना बहुत महंगा पड़ सकता है. सरकार इस मामले में कोई भी ढील देने के मूड में नहीं है.