Sex Trafficking Racket: उज्बेकिस्तान से आकर लखनऊ में सेक्स ट्रैफिकिंग रैकेट चला रही थी Lola Kayumova, पहचान बदलने के लिए कराई 7 सर्जरी
लोला कायमोवा ने फर्जी आधार कार्ड और मैरेज सर्टिफिकेट भी किया हासिल (Photo: X|@JagranNews)

लखनऊ, 26 जून: उत्तर प्रदेश के लखनऊ में सेक्स ट्रैफिकिंग रैकेट की कथित मास्टरमाइंड और 49 वर्षीय उज़्बेकिस्तानी महिला लोला कायमोवा (Lola Kayumova) ने कथित तौर पर अपनी पहचान बदलने और पहचान से बचने के लिए अपने निजी अंगों सहित सात कॉस्मेटिक सर्जरी करवाई थीं. कथित तौर पर उसने रैकेट को सालों तक बिना किसी बाधा के चलाने के लिए खुद को 29 वर्षीय एनआरआई सोशलाइट बताया. जांच से पता चला है कि उसने भारत में अपने रहने को वैध बनाने के लिए एक फर्जी आधार कार्ड और एक जाली विवाह प्रमाणपत्र भी हासिल किया था. टाइम्स ऑफ इंडिया की एक रिपोर्ट के मुताबिक, लोला सात साल से अधिक समय से लखनऊ में अवैध रूप से रह रही थी. यह भी पढ़ें: वाराणसी गैंगरेप केस में सेक्स रैकेट का पर्दाफाश! मास्टरमाइंड Anmol Gupta के फोन से मिले 546 लड़कियों के न्यूड वीडियो

आधिकारिक रिकॉर्ड में उसे स्थानीय निवासी जनक प्रताप सिंह से विवाहित बताया गया है, हालांकि जनक ने इस तरह के किसी भी विवाह से इनकार करते हुए प्रमाणपत्र को जाली बताया है. लोला के फर्जी दस्तावेजों को 2021 में जारी किया गया और हाल ही में 2025 में अपडेट किया गया आधार कार्ड शामिल है, जिसमें जनक को उसका जीवनसाथी बताया गया है. वह ओमेक्स रेजीडेंसी और गोल्फ सिटी के महंगे फ्लैटों में रहती थी, जहां पड़ोसियों ने संदिग्ध गतिविधियों और देर रात को अक्सर आने वाले आगंतुकों की सूचना दी थी. यह भी पढ़ें: Raipur Sex Racket: महादेव घाट मारपीट की जांच में बड़ा खुलासा, युवतियां चला रहीं थीं सेक्स रैकेट, मोबाइल से मिले कई ग्राहकों के नंबर

लोला के नेटवर्क ने कथित तौर पर कमज़ोर उज़्बेकिस्तानी महिलाओं को नौकरी के झूठे वादे के तहत भारत में लाया, फिर उनके यात्रा दस्तावेज़ जब्त करने के बाद उन्हें वेश्यावृत्ति में धकेल दिया. हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, कॉस्मेटिक सर्जरी लोला की एक युवा और आकर्षक छवि बनाए रखने की रणनीति का हिस्सा थी, जिससे उसे पीड़ितों और ग्राहकों को बरगलाने में मदद मिली. अहमामऊ में अपने मिनर्वा क्लिनिक में डॉ विवेक गुप्ता द्वारा की गई इन सर्जरी में उसके चेहरे, होंठ, अंडरआर्म्स और निजी क्षेत्रों में बदलाव शामिल थे. यह भी पढ़ें: Porn App Kotha Case: अरनाला पोर्न रैकेट केस में बड़ा खुलासा, कोठा ऐप पर अपलोड किए गए थे 6 अभिनेत्रियों के अश्लील वीडियो (View Tweet)

डॉ. गुप्ता, लोला और उसके कथित साथी थ्रीजिन राज (उर्फ अर्जुन राणा) के साथ फरार हैं. थ्रीजिन ने कथित तौर पर खुद को पत्रकार के रूप में पेश किया और नकली भारतीय पहचान पत्र प्राप्त करने में मदद की, जबकि डॉ. गुप्ता ने तस्करी की गई महिलाओं को भारतीय दिखाने के लिए कॉस्मेटिक प्रक्रियाओं की सुविधा प्रदान की. अधिकारी तीनों का पता लगाने के लिए केंद्रीय एजेंसियों और विदेशी क्षेत्रीय पंजीकरण कार्यालय (FRRO) के साथ समन्वय कर रहे हैं, जिनके मोबाइल फोन बंद हैं. जांच जारी रहने के दौरान लोला के एक्सपायर हो चुके पासपोर्ट और अन्य दस्तावेजों की जांच की जा रही है.